ऋषिकेश के भटोवाला में बेकाबू कार ने रेलवे फाटक को टक्कर मारी, चालक फरार
Uttarakhand News 08Oct2025/sbkinews.in
ऋषिकेश के भटोवाला में सोमवार दोपहर करीब तीन बजे एक तेज रफ्तार कार ने रेलवे फाटक को टक्कर मार दी, जिससे फाटक क्षतिग्रस्त हो गया। घटना के दौरान कोई जानी नुकसान नहीं हुआ। कार चालक मौके से फरार हो गया, लेकिन रेलवे कर्मचारी और स्थानीय लोगों ने चेन बांधकर ट्रेन को बढ़ाया और राहत कार्य किया।
रेलवे फाटक का टूटना और दुर्घटना देख वहां जमा हुए लोगों ने घटना का विरोध किया और सख्त कार्रवाई की मांग की। हालांकि, आरपीएफ के पहुंचने से पहले ही कार चालक वहां से भाग चुका था।
आरपीएफ ने मामले की जांच शुरू कर दी है और संबंधित चालक की तलाश की जा रही है। इस घटना से पुराना रेलवे फाटक भी खराब हो गया है, इसके कारण उस समय आने-जाने वाले वाहनों को परेशानी हुई। रेलवे और स्थानीय प्रशासन फाटक की मरम्मत में लगे हुए हैं ताकि यातायात सुचारू रूप से बहाल हो सके।
मौके पर मौजूद महिला यात्री ने बताया कि उन्हें वाहन चालान के साथ कोई जानबूझकर रेलवे फाटक तोड़ने की मंशा नहीं थी। उन्होंने कहा कि वाहन चालक ने सावधानी नहीं बरती, जिससे यह दुर्घटना हुई।
इस घटना ने क्षेत्र में रेलवे सुरक्षा और अनियंत्रित वाहन चालकों के खतरे पर चिंता जताई है। रेलवे विभाग ने चेतावनी दी है कि ऐसी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी और भविष्य में सख्त कार्रवाई की जाएगी।
चमोली में भूस्खलन का अलर्ट, हेमकुंड साहिब और फूलों की घाटी की यात्रा रोकी गई
Uttarakhand News 08Oct2025/sbkinews.in
चमोली जिले में भारी बर्फबारी और भूस्खलन की चेतावनी के चलते इस बार हेमकुंड साहिब और फूलों की घाटी की यात्रा रोक दी गई है। प्रशासन ने करीब 1500 से अधिक यात्रियों को इंतजार कराते हुए सुरक्षित जगहों पर रोका हुआ है।
हेमकुंड साहिब जा रहे लगभग 30 तीर्थयात्री बर्फबारी में फंस गए थे, जिन्हें एसडीआरएफ की टीम ने सुरक्षित बचाया है। प्रशासन ने मुश्किल हालात को देखते हुए उच्च अलर्ट जारी किया है और यात्रियों की सुरक्षा के लिए हर संभव कदम उठा रहा है।
चमोली के अलावा रुद्रप्रयाग जिले में भी आपदा प्रबंधन विभाग ने हाई अलर्ट जारी किया है ताकि किसी भी आपदा की स्थिति में तुरंत प्रतिक्रिया दी जा सके। भारी बर्फबारी और भूस्खलन के कारण पर्वतीय इलाकों में यात्रा करना असुरक्षित है।
इस स्थिति को लेकर प्रशासन ने यात्रियों और स्थानीय लोगों को सतर्क रहने और अनावश्यक यात्राओं से बचने की सलाह दी है। संबंधित विभाग लगातार मौसम और मार्ग की स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं।
यह निर्णय तीर्थयात्रियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए लिया गया है और यात्रा को फिर से शुरू करने की जानकारी बाद में दी जाएगी। इस साल भी सर्दियों की शुरुआत जल्दी हो गई है, जिसने हिमालयी क्षेत्रों में बर्फबारी और ठंड को बढ़ावा दिया है।
तीर्थयात्रियों ने प्रशासन के इस कदम की सराहना की है और सुरक्षा को प्राथमिकता देने के लिए आभार प्रकट किया है। यात्रा संबंधित अपडेट के लिए यात्रियों से आग्रह किया गया है कि वे आधिकारिक सूचनाओं पर ही भरोसा करें।
बर्फबारी से निखरी चारों धाम की रंगत, श्रद्धालुओं में बढ़ा उत्साह
Uttarakhand News 08Oct2025/sbkinews.in
उत्तराखंड में लगातार दो दिनों से हो रही बर्फबारी से चारों धाम – केदारनाथ, बद्रीनाथ, यमुनोत्री और गंगोत्री की सुंदरता और बढ़ गई है। विशेष रूप से केदारनाथ और बद्रीनाथ में लगातार दूसरी दिन बर्फ़बारी हुई है, जिससे वहां का तापमान गिर गया है और चारों तरफ बर्फ की चादर बिछ गई है।
केदारनाथ के भैरव पहाड़ी पर करीब चार इंच तक बर्फ जमी है, जबकि हेमकुंड साहिब में लगभग दो फीट बर्फ का जमाव हुआ है। फूलों की घाटी और निति तथा माणा घाटियों में भी बर्फ के सफेद परिधान ने यहां के ग्रामीण इलाकों को स्वर्ग जैसा बना दिया है।
शिलांग और यमुनोत्री में भी ऊंची चोटियों पर बर्फबारी हो रही है, बावजूद इसके श्रद्धालु उत्साह के साथ अपने धार्मिक अनुष्ठान कर रहे हैं। बर्फबारी के कारण तापमान में गिरावट आई है, जिससे ठंडक महसूस हो रही है, लेकिन यह मौसम तीर्थयात्रियों के लिए आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।
मौसम विभाग के अनुसार, पिछले 30 वर्षों में अक्टूबर के पहले सप्ताह में इस तरह की बर्फबारी की कोई रिकॉर्ड नहीं है, जिससे यह एक दुर्लभ और खास प्राकृतिक घटना बन गई है।
स्थानीय प्रशासन और आपदा प्रबंधन विभाग अलर्ट मोड में काम कर रहे हैं ताकि तीर्थयात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। श्रद्धालुओं से भी अपील की गई है कि वे मौसम के अनुसार उचित व्यवस्थाएं कर सुरक्षित यात्रा करें।
इस बर्फबारी ने चारों धामों की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महत्ता को और भी बढ़ा दिया है, जिससे यहां आने वाले पर्यटकों और श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ी है।
नैनीताल के रामगढ़ ब्लॉक में 2 करोड़ की लागत से नई सड़क निर्माण, धामी सरकार का दिवाली तोहफा
Uttarakhand News 08Oct2025/sbkinews.in
उत्तराखंड के नैनीताल जिले के रामगढ़ ब्लॉक में झूतिया थान देव से सैमधार मंदिर तक मोटर मार्ग का निर्माण मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंजूरी दे दी है। इस परियोजना के लिए 1 करोड़ 92 लाख रुपये का बजट आवंटित किया गया है।
इस नई सड़क के बनने से थानदेव, सैमधार और रैतखान इलाकों के निवासियों को काफी राहत मिलेगी, जिन्होंने पहले 5 किलोमीटर पैदल चलकर मंदिर तक पहुंचना पड़ता था। सड़क बनने से यहां के लोगों की यात्रा सुविधा बढ़ेगी और विकास की गति भी तेज होगी।
मुख्यमंत्री धामी ने इसे स्थानीय जनता के लिए दिवाली का खास तोहफा बताते हुए कहा कि सरकार ग्रामीण इलाकों के विकास पर विशेष ध्यान दे रही है। यह सड़क न केवल यातायात सुगमता बढ़ाएगी, बल्कि क्षेत्र की आर्थिक और सामाजिक प्रगति में भी योगदान देगी।
सरकार ने इस सड़क निर्माण के साथ-साथ अन्य बुनियादी ढांचागत परियोजनाओं को भी प्राथमिकता दी है ताकि ग्रामीण इलाकों में जीवन स्तर में सुधार हो सके। इस योजना से स्थानीय रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
स्थानीय जनता ने इस सड़क निर्माण की पहल का स्वागत किया है और इसे क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण कदम माना है। प्रशासन ने कहा है कि निर्माण कार्य जल्द शुरू होगा और पारदर्शिता के साथ परियोजना पूरी की जाएगी।
यह नई सड़क न केवल धार्मिक स्थलों से जुड़ाव बढ़ाएगी बल्कि क्षेत्र की सम्पूर्ण उन्नति में भी अहम भूमिका निभाएगी।
मेडिकल टेक्नीशियन अंकुश कुमार के परिवार को 26.81 लाख रुपये का मुआवजा
Uttarakhand News 08Oct2025/sbkinews.in
मोटर दुर्घटना दावा अधिकरण ने ड्यूटी के दौरान हुई एक दर्दनाक हादसे में मृत हुए ईएमटी अंकुश कुमार के परिवार को 26,81,268.8 रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया है। अंकुश कुमार की मौत 27 अप्रैल 2020 को एक वाहन टक्कर के कारण हुई थी।
अधिकारण ने कहा कि यूनाइटेड जनरल इंश्योरेंस कंपनी को यह मुआवजा अदा करना होगा, जिसमें मृतक की पत्नी को 21,81,268.8 रुपये और पुत्र को 5 लाख रुपये की राशि मिलेगी। यह मुआवजा परिवार को हुए आघात और आर्थिक नुकसान के लिए दिया जा रहा है।
यह फैसला न्यायिक प्रक्रिया के बाद लिया गया, जिसमें हादसे की जांच और मुआवजा प्राप्त करने के लिए किए गए प्रयासों को देखा गया। इससे प्रभावित परिवार की आर्थिक स्थिति बेहतर होगी और आश्रितों को राहत मिलेगी।
अंकुश कुमार की सेवा और समर्पण को याद करते हुए यह मुआवजा उनके परिवार के लिए सदमे को कम करने और जीवन को पुनः स्थिर करने का जरिया बनेगा। प्रशासन ने भी इस तरह के हादसों से बचाव के लिए सुरक्षा उपायों को बढ़ाने का संकल्प लिया है।
यह मामला कार्यस्थल सुरक्षा की आवश्यकता और दुर्घटना के बाद सहायक सहायता प्रणाली की महत्ता को उजागर करता है ताकि कर्मचारियों और उनके परिवारों को समय पर न्याय और समर्थन मिल सके।


